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Showing posts from March, 2015

होली भ्रमण (GRA)

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हर बार की तरह इस बार भी GRA (Group For Rural Activities) द्वारा एक भ्रमण का आयोजन किया गया। वनवासी बस्तियों में भारत की एक भिन्न तस्वीर को तथाकथित मुख्य-धारा के बुद्धिजीवियों के सम्मुख प्रस्तुत करना इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य था जिसमें निस्संदेह सफ़लता मिली। यात्रा का मार्ग एवं पड़ाव  इस अनोखी यात्रा के मुख्य पड़ाव थे ग्राम बारीपाडा एवं  ग्राम मोलगी। जहाँ बारीपाडा की यशोगाथा वहां की वन-संरक्षण एवं जल-संसाधन के प्रबंधन में है वहीं पश्चिमी घाट की गोद में बसे मोलगी गाँव का गौरव है वहाँ की वनवासी सभ्यता एवं संस्कृति। निम्नप्रदर्शित मार्ग से GRA का दल भ्रमण करते हुए, विलक्षण संस्कृति एवं भारतीय तस्वीरों को मनः पटल पर अंकित करते हुए संस्थान पहुंचा - नीचे यात्रा का मानचित्र संलग्न किया गया है - वनवासी कल्याण आश्रम नाशिक  दादर रेलवे-स्टेशन से पंचवटी एक्सप्रेस पर माफ़िया (एक मजेदार खेल ) खेलते हुए GRA का दल शाम को करीब साढ़े नौ बजे नाशिक-रोड रेलवे-स्टेशन पहुंचा। वहां से सभी को वनवासी कल्याण आश्रम ले जाया गया जहाँ रात्...

शनिवार को बघार

छन्द : कवित्त कल है आराम सन्डे ,नौगाँव से लाये अंडे , आज शनिवार को ,बघार जो लगत है। धना ,मिर्च व मसाले ,मेस से चुराए सारे , सौ-सौ जतन करे ,रात भर जगत है । येन-केन-प्रकारेन पंगत में बैठ गए , आ परे सर कोई ,होश अब उडत है । 'परमानन्द'भाग ले सबहि बिथर गए , आह रे वो सुवाद , चोट अब करत है ।                                    -परमानंद 

काव्या

शीर्षक:-              काव्या  छंद:-                 रुचिरा (मात्रिक) छंद-संरचना :-   १६,१४                          १६,१४                              अंत में एक गुरु |   मैं बैठा था हरी मेढ़ पर, हरि की महिमा मन में थी। झूम रही गेहू की बाले ,हवा नाचती तन पे थी। पास कहीं चिडियों की चै-चै ,काक-भगोड़े की चुप्पी।  दबे पाँव आ हवा बसंती ,देती जादू की झप्पी। तभी अचानक पलास-पत्र से ,सुरमुर की आवाज उठी। चौंक पेड़ को देखा मैंने ,इक सिहरन सी जाग उठी। कुछ श्वेत पात के पीछे ,देखा हलकी सी गति में। जिज्ञासा में कदम बढ़ाया ,बन संदेह पड़ा मति में। धीरे धीरे भ्रम का पर्दा ,उठा आँख के ऊपर से। श्वेताम्बर में सुन्दरता सी ,प्रकट भई उस झुरमुट से। कुछ क्षण तक मैं रहा देखते ,कुदरत ज्यो देखा करता। मन-मंदिर का मेरा मोहन राधा के दर्शन करता।  श्वेत फ्रॉक मे...